वाराणसी, सन्मार्ग। भीषण गर्मी व तपन का हाल भयावह हो गया है लोग अपने व अपने परिवार की सुरक्षा को लेकर भयक्रांत हो गये है अस्पतालों के ओपीडी में मरीजों की कतार कम नही हो रहा है।भीड इस तरह से है कि मरीज को स्ट्रेचर नही मिल पा रहा है।बुद्धवार की कबीरचैरा मंडलीय अस्पताल में सुबह से ही मरिजों कतार लगी हुई थी।
मंगलवार को मंडलीय अस्पताल मेें 22 लोगों के मौत होने की सूचना थी जिसमें अज्ञात संख्या अधिक थी।
मिली जानकारी के अनुसार किसी की राह चलते मौत हो गई तो विशाखापट्टम आयी महिला विश्वनाथ धाम मे चक्कर खाकर गिरने के बाद चिकित्सा के दौरान मौत हो गई। एक मॉ अपने 17 वर्षीय पुत्र को लेकर मंडलीय अस्पताल के इमरेजंसी में पहुची उसके साथ कई लडके थे।गर्मी के कारण गंगा में स्नान करने गया था पैर फिसलने के कारण गहरे पानी मे ंचला गया जिसके कारण उसकी मौत हो गई। मर्चरी से पोस्टमार्टम के लिए भेजने वाले भोला ने बताया कि अज्ञात शवों की संख्या अधिक है हर दूसरे घंटे दो से तीन शव अज्ञात के नाम पर आ रहा है जिसकी शिनाख्त होना मुश्किल से हो रहा है।
इमरजेंसी मेडिकल अफसर डॉ0 ए0 के मणि ने बताया कि अस्पताल में कई तरह से मरीज आ रहे है। वोमेंटिंग,लूज मोशन, पाइरेक्सिया,अन कान्शियस ,सीवीए वाले मरीज आ रहे है।मंडलीय अस्पताल के सीएमएस ने बताया कि 200 से अधिक मरीज भर्ती है बिते रात 12 बजे से लेेकर 12 बजे तक 20 मरीजों की मौत हो चुंकी है।तपन से हर आदमी बेहाल है लोग घर से बाहर नही निकल रहे है जिस सडक पर सुबह से शाम तक यातायात जाम होता था वह सडक खाली नजर आ रहा है। सुबह से शाम तक गुलजार रहने वाला चैक क्षेत्र का रानी कुआ, लखीचैतरा, कचैडी गली, ठठेरी बजार, सुडिया, गोविदंपुरा, राजादरवाजा क्षेत्र के गद्दियों,दुकानों गलियों में सन्नाटा पसरा हुआ है। तपन के कारण बाहर से आने वाले व्यापारियों का आगमन भी बहुत ही कम हो गया है।
तपन के प्रकोप को देख कर हर व्यक्ति भयक्रांत हो गया है। लोगों के बीच चर्चा हो रही है इस तरह का उमस व तपन भरी जानलेवा गर्मी नही पडा था।जानकारों का मानना है कि गर्मी पडने का बडा कारण है पर्यावरण का दूषित होना व पेडों का कटना है।सडको के चैडीकरण में बडे पैमाने पर पेडो की कटाई हुई है उस अनुपात में पौधे नही लगाये गये जिसका असर जनमानस के जीवन पर पड रहा है।